नगरह गांव के विशहरि स्थान में आस्था का अजूबा चमत्कार, चमत्कारी कलस के जल से ठीक हो रहे हैं लोग
शुभम कुमार/भागलपुर:भागलपुर, नवगछिया अनुमंडल के नगरह गांव स्थित विशहरि स्थान में एक चमत्कारिक आस्था का केंद्र लोगों के बीच चर्चा का विषय बना हुआ है। यहां हर मंगलवार और शनिवार को देश के कोने-कोने से श्रद्धालु अपनी मनोकामनाएं लेकर पहुंचते हैं। लोगों की मान्यता है कि इस स्थान पर स्थित कलश (घड़ा) चाहे खाली क्यों न हो, उसमें से ” नीर” (जल) निरंतर निकलता रहता है — और यही जल पीने से गंभीर बीमारियां तक ठीक हो जाती हैं।स्थानीय संत चंद्र बाबा, जो इस पावन स्थल की सेवा में वर्षों से लगे हैं, बताते हैं कि यह स्थान अत्यंत चमत्कारी है। “यहां कोई भी रोगी आता है, तो वह स्वस्थ होकर ही लौटता है। यह कलश कोई साधारण कलश नहीं है, इसमें जो जल निकलता है, उसमें अद्भुत औषधीय और आध्यात्मिक शक्ति है,” चंद्र बाबा ने कहा।श्रद्धालुओं का कहना है कि वे इस स्थान पर केवल आस्था ही नहीं, बल्कि चमत्कार के अनुभव के लिए आते हैं। कई लोगों ने दावा किया कि उन्होंने लाइलाज बीमारियों से मुक्ति पाई है।हर सप्ताह मंगलवार और शनिवार को यहां विशेष पूजा, अर्चना और भजन-कीर्तन का आयोजन होता है, जिसे स्थानीय लोग “धाम” के रूप में मनाते हैं। यहां आने वाले श्रद्धालु जल को अपने घर भी ले जाते हैं।इस तरह, नगरह गांव का विश्व हरि स्थान न सिर्फ एक धार्मिक स्थल बन गया है, बल्कि यह अब लोगों की आस्था और चमत्कारिक विश्वास का प्रतीक भी बनता जा रहा है।





